उत्साही बने, उतावला नही | Passion For Success Inspirational Story In Hindi

utsah-passion-inspirational-story-in-hindi

  एक छोटा लड़का स्कूल से लौटकर दोस्तों के साथ शाम को घर के पास ही एक पार्क में खेलने गया । खेलकूद के बाद उसे जब थोड़ी भूख सताने लगी तो उससे रहा नहीं गया उसने सोचा घर जाने से ज्यादा अच्छा होगा क्यों न यही कुछ खाकर आराम कर लूं, फिर थोड़ी और मौज मस्ती करूंगा और फिर घर जाऊंगा ।

  यही सब सोचकर वह पार्क में ही एक बेकरी की दुकान पर पहुंचा उसने दुकानदार से अपनी फेवरेट ऑरेंज क्रीम बिस्कुट मांगी और बिस्कुट लेकर वह दुकान से चल पड़ा । वह अभी दुकान से बाहर निकला ही था कि अचानक उसके सामने दो प्यारे प्यारे छोटे छोटे कुत्ते आ गए उसमें से एक सफेद रंग का और दूसरा भूरे रंग का था । दोनों बहुत ही प्यारे थे मगर उनकी हरकतें बहुत डरावनी थी ।

  दोनों मानो भूखे शेरों की तरह उस छोटे लड़के पर झपट पड़े लड़का डर गया, वह जोर-जोर से चिल्लाने लगा उसकी आंखों से आंसू निकलने लगे । तब तक पास खड़े लोगों ने उनको भगाया और लड़के को शांत कराया मगर तब तक वो लड़का काफी डर चुका था उसके दिल की धड़कन काफी तेज हो रखी थी वह बड़ी मुश्किल से शांत हुआ ।

  तभी दुकानदार ने बताया कि वह तुम्हें काटने को नहीं दौड़े थे उन्हें तो बस तुम्हारे इस बिस्कुट के पैकेट मे से एक दो बिस्कुट चाहिए थे । तुम दे देते तो वे यूं ही शांत हो जाते पास खड़े शख्स ने दुकानदार से कहा तुम्ही ने इनको बिगाड़ रखा है और यह जिस पर देखो उसी पर कूद पड़ते हैं । दुकानदार ने कहा नहीं-नहीं भाईसाहब मैंने नहीं, मुझे तो आप लोगों को सामान देने से फुर्सत ही कहां ये तो आप जैसे भाई बंधुओं ने, खुद ही इन प्यारे-प्यारे कुत्ते के बच्चों को अपनी चीजें खिला-खिला कर इनकी आदतें बिगाड़ दी हैं वरना ये ऐसा क्यों करते हैं मगर उन लोगों को का भी क्या दोष ये तो हैं ही इतने प्यारे कि कोई भी इन्हें कुछ दिए बगैर नहीं रह सकता तब तक वह लड़का वहां से जा चुका था ।

  वह वहाँ से सहमा सा धीरे-धीरे आगे बढ़ता हुआ पार्क में ही एक छोटे से टेबल पर जा कर बैठ गया और अपने बिस्कुट का पैकेट खोल कर खाने लगा इतनी ही देर में वह दोनों नन्हे कुत्ते वहां आ धमके और उसकी बिस्कुट के पैकेट को पाने के लिए उछलने लगे लड़का डर गया मगर फिर वह कुछ समझ कर उसमें से दो बिस्कुट उनकी और फेंक दिया दोनों बिस्कुट पाकर शांत हो गए और आपस में खेलने लगे छोटा लड़का अब तक उनको समझ चुका था ।  दोनों कुत्ते अभी भी उससे और बिस्कुट मिलने की ताक में थे । शायद उन्हें भी बिस्कुट का टेस्ट पसंद आने लगा था लड़के को भी वे दोनों पसंद आने लगे थे ।

  अब वह खुद भी खाता और फिर कुछ बिस्कुट उनकी और भी फेंकता तभी उसने एक बात गौर की कि दोनो कुत्तों में सफेद रंग वाला काफी शरारती है, वह बिस्कुट पाने के लिए कुछ ज्यादा ही उतावला है, जबकि दूसरा भूरे रंग वाला बिस्कुट पाना तो चाहता है पर शांत है ज्यादा आगे-आगे सफेद वाला ही कूद रहा है और अपना उतावलापन दिखा रहा है थोड़ी ही देर बाद ज्योंही बिस्कुट के पैकेट का ऊपर का कवर लड़के ने फेंका सफेद कुत्ता जोर से उस पैकेट के पीछे दौड़ा और उस पर कूद कर काफी देर तक उसमें बिस्कुट ढूंढने लगा जबकि दूसरे कुत्ते ने थोड़ी ही देर में ताड़ लिया कि वह पैकेट खाली है उसमें कुछ भी नहीं ।

———
  कुछ देर बाद जब सारा बिस्कुट खत्म हो गई तो लड़के ने अंदर वाला बिस्कुट का पैकेट भी फेंक दिया । पहले सफेद नन्हे कुत्ते ने अपनी पुरानी हरकत फिर दोहराई जबकि दूसरा कुत्ता उसके पास गया तो मगर एक दो बार पैकेट को टटोलकर हकीकत भाप गया और वापस लौटकर लड़के के सामने चुपचाप बैठ गया । वहीं सफेद कुत्ता इधर-उधर बिस्कुट ढूंढता रहा पर दोनों की निगाहें घूम-फिरकर लड़के पर ही टिकी थी ऐसे में लड़के को भी शरारत सूझी उसने झूठ-मूठ का अपने हाथ से कुछ फेंकने का नाटक किया दूसरा कुत्ता तो बैठे-बैठे इधर-उधर देखकर शांत हो गया मगर सफेद वाले ने मिनटों में फील्ड के चार चक्कर लगा डाले ।

  बस फिर क्या था छोटे लड़के को बैठे-बिठाए मनोरंजन का अपना एक नया गेम मिल गया था । वह बार-बार वही हरकत दोहराता और सफेद कुत्ता फिल्ड के चार चक्कर मार आता ।

  तभी लड़के ने देखा कि दूसरा कुत्ता चुपचाप उसकी तरफ चला आ रहा है । उसको अपनी तरफ आता देख छोटे लड़के के चेहरे की हंसी ही कहीं गुम हो गई । चेहरे पर उसके मानो फिर से बारह बज गए हो । वह डर गया, मगर इस बार वह चिल्लाने की बजाय चुपचाप बैठा रहा । शायद अब वे कुत्ते उसके लिए अनजान नहीं थे ।

  कुत्ता उसके सामने से आते हुए उसके टेबल के नीचे जाने लगा फिर वो टेबल के नीचे उसके जूतों के ठीक पीछे चला गया लड़का सोचने लगा, आखिर ये कर क्या रहा है मगर थोड़ी ही देर में उसने चौंका दिया । उसके मुख में बिस्कुट का एक छोटा-सा टुकड़ा था जो शायद लड़के द्वारा बिस्कुट खाते वक्त उसके मुख से नीचे गिरा होगा और फिर फिसल कर उसके पैर के पीछे चला गया होगा ।

  भूरे कुत्ते के मुख में बिस्कुट का टुकड़ा, सफेद कुत्ता देखता ही रह गया, उसका लक्ष्य के प्रति उतावलापन कोई काम नहीं आया जबकि बड़े ही शांत मन से बिस्कुट की चाह रखने वाले दूसरे कुत्ते को आखिरकार वह मिल ही गया जो उसको चाहिए था ।

Moral Of The Story :-





• Best शायरी यहाँ पढें

• Best Love शायरी यहाँ पढें

• Best Sad शायरी यहाँ पढें



author

Karan Mishra

करन मिश्रा को प्रारंभ से ही गीत संगीत में काफी रुचि रही है । आपको शायरी, कविताएं एवं‌‌ गीत लिखने का भी बहुत शौक है । आपको अपने निजी जीवन में मिले अनुभवों के आधार पर प्रेरणादायक विचार एवं कहानियां लिखना काफी पसंद है । करन अपनी कविताओं एवं विचारों के माध्यम से पाठको, विशेषकर युवाओं को प्रेरित करने का प्रयत्न करते हैं ।

इन्हें भी पढें...

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!